शिल्पा शेट्टी-राज कुंद्रा के खिलाफ लुकआउट नोटिस जारी, 60 करोड़ के विवाद में बढ़ा मामला

Shilpa Shetty Raj Kundra Rs 60 Crore Cheating Case: मुंबई पुलिस ने अभिनेत्री शिल्पा शेट्टी और उनके पति राज कुंद्रा के खिलाफ 60 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी मामले में लुकआउट सर्कुलर जारी किया है। पुलिस का कहना है कि दोनों अक्सर विदेश यात्रा करते हैं। इसलिए जांच में कोई रुकावट न आए इसके लिए यह कदम उठाया गया है। 60 करोड़ का गबन बिजनेसमैन दीपक कोठारी ने 14 अगस्त को शिल्पा शेट्टी और राज कुंद्रा के खिलाफ मुंबई पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा (EOW) में शिकायत दर्ज कराई। दीपक का आरोप है कि 2015 से 2023 के बीच उन्होंने अपने बिजनेस को बढ़ाने के लिए कपल को कुल 60.48 करोड़ रुपए दिए, लेकिन यह रकम निजी खर्चों में खर्च कर दी गई। शिल्पा शेट्टी कंपनी की बड़ी हिस्सेदार दीपक कोठारी के मुताबिक, उनकी मुलाकात 2015 में एजेंट राजेश आर्या के जरिए शिल्पा शेट्टी और राज कुंद्रा से हुई। उस समय दोनों बेस्ट डील टीवी के डायरेक्टर थे और शिल्पा के पास कंपनी के 87% से ज्यादा शेयर थे। मीटिंग में तय हुआ कि दीपक उनकी कंपनी को लोन देंगे। कंपनी ने 75 करोड़ रुपए का लोन मांगा, जिस पर 12% सालाना ब्याज तय हुआ। दीपक का आरोप है कि बाद में शिल्पा और राज ने उन्हें बताया कि लोन पर टैक्स की परेशानी आ सकती है। इसलिए इसे इन्वेस्टमेंट के रूप में दिखाया जाएगा और हर महीने रिटर्न दिया जाएगा।
Bigg Boss 19 Promo: जीशान की धमकी ने तोड़ा कुनिका का सब्र, अशनूर-नेहल की लड़ाई से बिगड़ा बिग बॉस का माहौल

Bigg Boss 19 Promo: ‘बिग बॉस 19’ के घर में फिर से ड्रामा देखने को मिला है। दूसरे हफ्ते का कैप्टन बनने के बाद खाने को लेकर हुई बहस ने कुंनिका को रुला दिया। वहीं अशनूर ने नेहल को डरा-धमकाकर घरवालों और फैंस को चौंका दिया। Bigg Boss 19 के घर का ड्रामा ‘बिग बॉस 19’ के घर में अशनूर कौर और नेहल चुडासमा के बीच तीखी बहस देखने को मिली। अशनूर ने नेहल को सख्त लहजे में चेतावनी दी। उन्हें खरी-खरी सुनाई, जिससे घरवाले सन्न रह गए। वहीं, कुंनिका सदानंद और जीशान कादरी के बीच खाने को लेकर हुई बहस इतनी बढ़ गई कि कुंनिका फूट-फूटकर रोती नजर आईं। एपिसोड में दिखेगा भरपूर ड्रामा ‘बिग बॉस 19’ के 5 सितंबर के एपिसोड में घरवालों के बीच काफी ड्रामा देखने को मिलेगा। नए प्रोमो में अशनूर नेहल को जमकर डांटते हुए नजर आ रही हैं। साफ तौर पर अपने अंदाज में जवाब देती सुनाई दे रही हैं। फैंस इस बहस के रोमांच के लिए उत्साहित हैं। पूरियों पर मचा बवाल इस बार खाने को लेकर घर में हलचल मची हुई है। पूरियां खत्म हो जाने के कारण घरवालों में नाराजगी देखने को मिली। कुंनिका बाथरूम एरिया में इस बात को लेकर बातचीत कर रही थीं, तभी गुस्से में जीशान बाथरूम से बाहर आते हैं और पूड़ियों को लेकर सवाल करने लगते हैं। इस पर कुंनिका ने साफ कहा कि बात यह नहीं है, बस पूरी खत्म हो गई। जीशान की धमकी पर फूट-फूटकर रोईं कुंनिका बाद में जीशान का गुस्सा बढ़ जाता है और वे तान्या का नाम लेकर कुंनिका को चेतावनी देने लगते हैं। इस तकरार के बाद कुंनिका आखों से आंसू पोछती नजर आती हैं। घर का माहौल और भी गर्म हो गया है। शुक्रवार का एपिसोड फैंस के लिए धमाल, ड्रामा और इमोशन से भरपूर रहने वाला है।
‘Ramayana’ के सेट की अनसुनी कहानी: जानिए कैसे हवा में उड़े थे ‘हनुमान’, इस्तेमाल हुई थी यह खास ट्रिक

Hanuman flying trick Ramayan: जब भी ‘रामायण’ (‘Ramayana) की बात होती है, तो सबसे पहले रामानंद सागर का सीरियल याद आता है। इस शो का पहला एपिसोड 25 जनवरी 1987 को प्रसारित हुआ था। कुल 78 एपिसोड दर्शकों के सामने आए। आखिरी एपिसोड 31 जुलाई 1988 को प्रसारित हुआ, जिसने पूरे देश में नया इतिहास लिख दिया था। टीवी पर व्यूअरशिप के सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए। ‘रामायण’ के इस सीरियल ने दर्शकों के दिलों में खास जगह बनाई। इसमें दीपिका चिखलिया ने मां सीता का किरदार निभाया, जबकि अरुण गोविल भगवान राम के रूप में नजर आए। इसके अलावा, दारा सिंह ने हनुमान के रूप में अपनी दमदार उपस्थिति दिखाई, जो आज भी फैंस के लिए यादगार बनी हुई है। यहां हुई थी रामायण की शूटिंग रामानंद सागर ने ‘रामायण’ की शूटिंग के लिए मुंबई से बाहर एक खूबसूरत जगह चुनी थी। मुंबई से लगभग 150 किलोमीटर दूर, महाराष्ट्र-गुजरात के बॉर्डर पर स्थित उमरगांव, वलसाड जिले में आता है। यह जगह प्राकृतिक रूप से समृद्ध और सुंदर है, जिसे देखकर रामायण के दृश्यों को जीवंत और रियल बनाने में मदद मिली। उमरगांव का प्राकृतिक सौंदर्य उमरगांव, जो अरब सागर के तट पर स्थित है, अपने घने पेड़-पौधों, नदियों, समुद्र और आसपास के पहाड़ों के लिए जाना जाता है। यही प्राकृतिक दृश्य ‘रामायण’ में बेहद वास्तविक और आकर्षक नजर आए। रामानंद सागर ने इसी कारण इस जगह को सीरियल की शूटिंग के लिए चुना, ताकि दर्शकों को दृश्य एकदम जीवंत और रियल लगे। ‘रामायण’ में हनुमान के उड़ान सीन की खास तकनीक उमरगांव में बनाए गए सेट पर अयोध्या, लंका, मिथिला, किष्किंधा और कैलाश पर्वत को दर्शाया गया। हनुमान के समुद्र पार करके लंका जाने और पर्वत उठाकर लाने के दृश्य को दर्शकों के लिए वास्तविक दिखाने के लिए दारा सिंह को स्पेशल बेल्ट और तार के सहारे लटकाया गया। कैमरा एंगल, लाइटिंग और स्पेशल कैमरा तकनीक के जरिए यह सीन बिल्कुल नेचुरल और प्रभावशाली दिखाई दिया।
रात में लाइट जलाकर सोना नुकसानदेह, जानें सेहत पर पड़ने वाले असर

Health Risks of light During Sleep: रात में अच्छी और पर्याप्त नींद हर किसी के लिए बेहद जरूरी है। नींद पूरी न होने पर दिन भर थकान, चिड़चिड़ापन और कम ऊर्जा महसूस होती है। वहीं, नींद लेने के तरीके भी अलग-अलग होते हैं। कुछ लोग सोने से पहले पूरी तरह लाइट बंद कर देते हैं, जबकि कई लोग रात में कमरे की लाइट जलाकर सोना पसंद करते हैं। रात में आर्टिफिशियल लाइट से सोने के खतरे क्या आप जानते हैं कि रात में आर्टिफिशियल लाइट में सोने से सेहत पर गंभीर असर पड़ सकता है? हाल ही में हुई एक स्टडी में बताया गया है कि रात को रोशनी में सोने से ब्लड शुगर का स्तर बढ़ सकता है। मेटाबॉलिज़्म पर भी नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। इससे टाइप 2 डायबिटीज और अन्य मेटाबॉलिक समस्याओं का खतरा बढ़ सकता है। आर्टिफिशियल लाइट का असर शोधकर्ताओं की स्टडी में पाया गया है कि जो लोग रात में आर्टिफिशियल लाइट में सोते हैं, उनमें इंसुलिन का स्तर बढ़ जाता है। इसके मुकाबले, जो लोग कम रोशनी में सोते हैं, उनमें यह प्रभाव कम देखा गया। यह स्टडी PubMed में प्रकाशित हुई है। अध्ययन में यह भी सामने आया कि आर्टिफिशियल लाइट इंसुलिन रेजिस्टेंस को बढ़ा सकता है, जिससे टाइप 2 डायबिटीज का खतरा बढ़ जाता है। इसके अलावा, आर्टिफिशियल लाइट ऑटोइम्यून नर्वस सिस्टम को सक्रिय कर देता है, जिससे कार्डियोवेस्कुलर फंक्शन पर भी असर पड़ता है। नींद के पैटर्न में बदलाव से मेटाबॉलिज्म पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है, जिससे लंबी अवधि में स्वास्थ्य संबंधी कई समस्याएं हो सकती हैं। स्टडी में 20 प्रतिभागियों को शामिल किया गया। एक कमरे में तेज आर्टिफिशियल लाइट और दूसरे कमरे में धीमी रोशनी रखी गई। दोनों कमरों में 10-10 लोगों को एक रात के लिए सुलाया गया। रिसर्च में पाया गया कि तेज रोशनी में सोने वालों की इंसुलिन सेंसिटिविटी प्रभावित हुई। हालांकि ब्लड शुगर में बड़ा अंतर नहीं देखा गया। इसके साथ ही तेज रोशनी में सोने वालों की नींद की गुणवत्ता भी कम पाई गई। विशेषकर शहरी लोगों पर इसका प्रभाव अधिक होता है, जो घर में तेज रोशनी में सोना पसंद करते हैं। ऐसे लोग यदि रात में रोशनी कम कर लें, तो उनकी नींद की गुणवत्ता बेहतर हो सकती है। रात में लाइट जलाकर सोने से बॉडी क्लॉक अलर्ट मोड में चला जाता है और दिमाग में मेलाटोनिन का स्तर घटता है। डॉक्टरों के अनुसार, हर व्यक्ति को रोजाना 7 से 9 घंटे की नींद लेनी चाहिए। पर्याप्त नींद से शरीर बीमारियों से बचा रहता है और स्वास्थ्य बेहतर बना रहता है। पर्याप्त नींद लेने के स्वास्थ्य लाभ नींद हमारे शरीर और दिमाग के लिए बहुत जरूरी है। पर्याप्त नींद लेने से शरीर को खुद को रिपेयर करने में मदद मिलती है और मांसपेशियां जल्दी रिकवर होती हैं। इससे आपका मूड भी अच्छा रहता है और मानसिक स्वास्थ्य मजबूत होता है। इसके अलावा, बच्चों की शारीरिक और मानसिक ग्रोथ में भी पर्याप्त नींद का बड़ा योगदान होता है। Disclaimer: यह खबर केवल सूचना और जागरूकता के उद्देश्य से तैयार की गई है। स्वास्थ्य या किसी अन्य निर्णय से पहले विशेषज्ञ या योग्य डॉक्टर से सलाह लेना जरूरी है। यह भी पढ़ें : https://chambalkichugli.com/easy-ways-to-identify-iron-deficiency-women-can-get-this-test-done/
इंदौर मेयर के बेटे ने सबके सामने मंच पर खोली सरकार की पोल, मंच पर मौजूद थे BJP के दिग्गज, VIDEO

Indore Mayor Son Speech: इंदौर में बीजेपी के मंच पर उस वक्त अजीब स्थिति बन गई, जब मेयर पुष्यमित्र भार्गव के बेटे संघमित्र का भाषण वायरल हो गया। वाद-विवाद प्रतियोगिता में दिए इस भाषण में संघमित्र ने केंद्र की मोदी सरकार पर सीधा हमला बोला। बता दें जब वे यह बातें कह रहे थे, तब मंच पर खुद मुख्यमंत्री मोहन यादव, विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर समेत कई बड़े बीजेपी नेता मौजूद थे। मंच पर बीजेपी नेता हुए असहज मेयर पुष्यमित्र के बेटे संघमित्र का भाषण सुनते ही मंच पर मौजूद बीजेपी नेता थोड़े असहज नजर आए, लेकिन उन्होंने शांत रहते हुए भाषण पूरा सुना। वहीं ऑडिटोरियम में मौजूद दर्शकों ने केंद्र की सरकार की आलोचना सुनकर जोरदार तालियों से उनका समर्थन किया। इस दौरान संघमित्र की बेबाकी और निर्भीक शैली ने सभी का ध्यान अपनी ओर खींच लिया। मंच पर छा गया संघमित्र का भाषण मेयर पुष्यमित्र भार्गव के बेटे संघमित्र ने देवी अहिल्या विश्वविद्यालय के ऑडिटोरियम में आयोजित स्वर्गीय निर्भय सिंह पटेल स्मृति वाद-विवाद प्रतियोगिता में शानदार प्रदर्शन किया और विजेता घोषित किए गए। पुरस्कार वितरण समारोह के दौरान जब उन्हें मंच पर भाषण देने का मौका मिला, तो माइक थामते ही संघमित्र ने केंद्र सरकार के वादों और नीतियों पर सवाल उठाते हुए सभी का ध्यान अपनी ओर खींचा। संघमित्र ने बुलेट ट्रेन पर उठाए सवाल संघमित्र ने भाषण में केंद्र सरकार के वादों पर तीखा प्रहार किया। उन्होंने कहा कि ट्रेनों में वेटिंग लिस्ट इतनी लंबी है कि हर साल 50 लाख से ज्यादा लोग टिकट लेने के बावजूद यात्रा नहीं कर पाते। उन्होंने 2022 तक अहमदाबाद-मुंबई बुलेट ट्रेन चलाने के वादे को याद दिलाते हुए कहा कि 2025 आ गया, लेकिन बुलेट ट्रेन अब तक केवल पावरपॉइंट प्रेजेंटेशन तक सीमित रह गई। साथ ही उन्होंने जमीन अधिग्रहण में हुए खर्च और कथित घोटालों का भी जिक्र किया। मध्य प्रदेश का ये वीडियो गज़ब है… मंच पर मुख्यमंत्री समेत BJP के तमाम नेता हैं. उसी मंच पर इंदौर महापौर पुष्यमित्र भार्गव का पुत्र BJP सरकार की पोल खोल रहा है. pic.twitter.com/azyMb6sA51 — Govind Pratap Singh | GPS (@govindprataps12) September 5, 2025 दिग्विजय सिंह ने संघमित्र की तारीफ की संघमित्र ने भाषण में रेल हादसों और सरकार के दावों पर भी सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि कवच तकनीक के बावजूद पिछले 10 साल में 20 हजार लोग रेल हादसों में मारे गए हैं, जिससे कई परिवारों की जिंदगी बुरी तरह प्रभावित हुई। सोशल मीडिया पर यह वीडियो तेजी से वायरल हुआ। लोग इसे लेकर बीजेपी पर सवाल उठा रहे हैं। वहीं, मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस सांसद दिग्विजय सिंह ने संघमित्र का वीडियो शेयर करते हुए उन्हें प्रभावशाली वक्ता बताते हुए बधाई दी। यह भी पढ़ें :
गुवाहाटी में पहली बार टेस्ट मैच की मेजबानी, जानें BCCI वेन्यू चुनने की प्रक्रिया

Guwahati Test Match 2025: टेस्ट क्रिकेट का रोमांच अब नॉर्थ-ईस्ट भारत तक पहुंच गया है। गुवाहाटी 22 से 26 नवंबर के बीच भारत और साउथ अफ्रीका के बीच दूसरा टेस्ट आयोजित करेगा। बरसापारा क्रिकेट स्टेडियम न सिर्फ देश का 30वां टेस्ट वेन्यू बनेगा बल्कि नॉर्थ-ईस्ट का पहला शहर भी होगा, जिसे टेस्ट मैच की मेजबानी का गौरव मिलेगा। बरसापारा स्टेडियम का इंटरनेशनल सफर गुवाहाटी का बरसापारा क्रिकेट स्टेडियम अब तक 9 इंटरनेशनल मुकाबलों की मेजबानी कर चुका है, जिनमें 3 महिला टी20I शामिल हैं। अक्टूबर 2017 में यहां पहला इंटरनेशनल मैच खेला गया था, जब भारत ने टी20I में ऑस्ट्रेलिया का सामना किया था। इसके बाद यहां वनडे इंटरनेशनल और 6 आईपीएल मैच भी खेले गए। खास बात यह है कि यह राजस्थान रॉयल्स का दूसरा होम ग्राउंड भी है। गुवाहाटी चयन के पीछे BCCI की रणनीति गुवाहाटी को टेस्ट वेन्यू चुने जाने के पीछे दो अहम वजहें हैं। पहला BCCI का उद्देश्य है कि टेस्ट क्रिकेट को देश के हर हिस्से में लोकप्रिय बनाया जाए और नॉर्थ-ईस्ट जैसे क्षेत्रों तक इसकी पहुंच बढ़ाई जाए। दूसरा BCCI सचिव देवजीत सैकिया असम से ताल्लुक रखते हैं और असम क्रिकेट एसोसिएशन में कई पदों पर काम कर चुके हैं। माना जा रहा है कि उनके प्रभाव से गुवाहाटी को यह ऐतिहासिक मौका मिला है। ऐसे तय होते हैं टेस्ट वेन्यू BCCI के पास घरेलू टेस्ट मैचों के लिए कोई लिखित पॉलिसी नहीं है, लेकिन वेन्यू का चयन रोटेशन सिस्टम के आधार पर किया जाता है। इसका मकसद है कि सभी क्रिकेट एसोसिएशन को मौका मिले और उनकी वित्तीय स्थिति मजबूत हो। इसके साथ ही मौसम और स्थानीय परिस्थितियों को भी ध्यान में रखा जाता है। वनडे और टी20I के वेन्यू भी इसी पैटर्न पर तय किए जाते हैं। वहीं, किसी एसोसिएशन को कितने मैच मिलेंगे, यह इस पर भी निर्भर करता है कि उसकी बोर्ड में कितनी पकड़ है। सिर्फ 5 टेस्ट वेन्यू तक सीमित रखने की बहस साल 2000 के बाद से BCCI देशभर के 21 अलग-अलग वेन्यू पर टेस्ट मैच करा चुका है। धर्मशाला, पुणे, इंदौर, रांची और विशाखापट्टनम जैसे नए मैदान भी इस लिस्ट में शामिल हुए। बोर्ड का मानना है कि टेस्ट क्रिकेट को देश के हर हिस्से तक पहुंचाना चाहिए, लेकिन समय-समय पर यह मांग उठती रही है कि टेस्ट मैचों को सिर्फ 5 प्रमुख वेन्यू तक सीमित कर देना चाहिए। 2019 में तत्कालीन कप्तान विराट कोहली ने भी यह सुझाव दिया था। उनका मानना था कि वनडे और टी20I रोटेशन सिस्टम पर खेले जा सकते हैं, लेकिन टेस्ट क्रिकेट के लिए स्थायी 5 सेंटर ही होने चाहिए। ऑस्ट्रेलिया-इंग्लैंड की तरह भारत में भी सीमित टेस्ट सेंटर का प्रस्ताव ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड में टेस्ट मैच ज्यादातर चुनिंदा मैदानों पर ही खेले जाते हैं। ऑस्ट्रेलिया मेलबर्न, सिडनी, एडिलेड, पर्थ और ब्रिस्बेन पर निर्भर है, जबकि इंग्लैंड के प्रमुख टेस्ट वेन्यू लॉर्ड्स, ओवल, हेडिंग्ले, एजबेस्टन, ओल्ड ट्रैफर्ड और ट्रेंट ब्रिज हैं। अगर भारत भी सीमित टेस्ट सेंटर पॉलिसी अपनाता है तो कोलकाता, दिल्ली, चेन्नई, मुंबई और कानपुर को प्राथमिकता दी जा सकती है, क्योंकि ये पांचों मैदान देश के सबसे पुराने और ऐतिहासिक टेस्ट वेन्यू माने जाते हैं।
फोन पर डिप्टी CM अजित पवार से टकराईं महिला IPS, जानें कौन हैं अंजना कृष्णा

Ajit Pawar Anjana Krishna viral video: महाराष्ट्र की राजनीति और प्रशासनिक हलकों में इन दिनों एक वीडियो ने हलचल मचा दी है। सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे इस वीडियो में डिप्टी सीएम अजित पवार आईपीएस अफसर अंजना कृष्णा से फोन पर बात करते नजर आ रहे हैं। दावा किया जा रहा है कि बातचीत के दौरान अजित पवार उन्हें कथित तौर पर कार्रवाई रोकने का निर्देश देते सुनाई दे रहे हैं। अजित पवार और आईपीएस अंजना कृष्णा के बीच वायरल वीडियो ने सियासी माहौल को खराब कर दिया है। विपक्ष ने डिप्टी सीएम पर दबाव बनाने और प्रशासनिक कामकाज में हस्तक्षेप का आरोप लगाया है। हालांकि एनसीपी प्रदेश अध्यक्ष सुनील तटकरे ने बचाव करते हुए कहा कि अजित दादा ने केवल कार्यकर्ताओं को शांत कराने के लिए अफसर से सख्ती दिखाई होगी। उनका उद्देश्य कार्रवाई रोकना नहीं था। सोलापुर में संगमरमर खनन पर रोक दरअसल पूरा विवाद सोलापुर जिले के माधा तालुका के कुर्दु गांव से जुड़ा है। यहां 31 अगस्त को संगमरमर खनन का काम चल रहा था। तभी आईपीएस अंजना कृष्णा मौके पर पहुंचीं और खनन कर रहे लोगों से रसीद मांगी। वैध कागज़ात न मिलने पर उन्होंने तुरंत खुदाई रुकवा दी, जिसके बाद यह मामला सुर्खियों में आ गया। खनन कार्य रुकवाए जाने के बाद गांव के सरपंच और एनसीपी (अजित पवार गुट) के तालुका अध्यक्ष बाबा जगताप ने सीधे डिप्टी सीएम अजित पवार को फोन किया। शिकायत मिलते ही अजित पवार ने खुद आईपीएस अंजना कृष्णा से फोन पर बात की और कथित तौर पर उन्हें कार्रवाई रोकने के निर्देश दे दिए। वायरल वीडियो में डिप्टी CM अजित पवार और IPS अंजना कृष्णा के बीच हुई बातचीत में कई अहम बातें सामने आईं: अजित पवार ने आदेश दिया: “मैं अजित पवार बोल रहा हूं। मैं आपको आदेश देता हूं कि कार्रवाई रोको। तहसीलदार को जाकर बताओ कि डिप्टी सीएम का फोन आया था।” कारण बताया: पवार ने कहा कि “मुंबई का मौसम खराब है, उसको प्राथमिकता देना है।” अंजना कृष्णा की प्रतिक्रिया: उन्होंने कहा: “सर, आप एक काम कीजिए, मेरे फोन पर मुझे डायरेक्ट कॉल करिए।” अजित पवार ने जवाब दिया: “मैं तुम पर ऐक्शन लूंगा। इतना डेयरिंग हो गया है आपका कि आप मुझे डायरेक्ट कॉल करने को कह रही हो।” अंजना कृष्णा ने सफाई दी: “सर, समझ रही हूं जो आप बोल रहे हैं।” पवार ने कहा: “अपना नंबर दो या वॉट्सऐप कॉल करो। मैं यहां से कॉल करता हूं, मेरा चेहरा तो आपको समझ में आएगा।” कौन हैं आईपीएस अंजना कृष्णा? अंजना कृष्णा 2023 बैच की युवा आईपीएस अफसर हैं। इस समय करमाला में डीएसपी के पद पर तैनात हैं। केरल के तिरुवनंतपुरम की रहने वाली अंजना साधारण मध्यमवर्गीय परिवार से आती हैं। उनके पिता कपड़ों की दुकान चलाते हैं। मां टाइपिस्ट हैं। अंजना ने पूजाप्पुरा के सेंट मैरी स्कूल से पढ़ाई की और फिर बीएससी मैथ्स में ग्रैजुएशन किया। लगन से उन्होंने UPSC परीक्षा पास की और पूरे भारत में 355वीं रैंक हासिल की। एक कार्यक्रम में अंजना कृष्णा ने बताया कि वह कभी भी स्कूल में टॉप स्कोरर नहीं रहीं, बल्कि औसत छात्रा थीं। उन्होंने कहा था “एग्जाम में कुछ चीजें हमारे कंट्रोल में होती हैं और कुछ नहीं। हमें उन चीजों पर ध्यान देना चाहिए जो हमारे कंट्रोल में हों। असफलता कभी अंत नहीं होती। मेहनत जारी रखें तो लक्ष्य जरूर हासिल किया जा सकता है।” यह भी पढ़ें:https://chambalkichugli.com/why-youtube-facebook-and-instagram-26-social-media-platform-stalled/
टीम इंडिया दुबई के लिए रवाना, 9 सितंबर से होगा एशिया कप का आगाज़

Asia Cup India Squad 2025: क्रिकेट एशिया कप 2025 का रोमांच शुरू होने से पहले भारतीय टीम गुरुवार को दुबई रवाना हो गई। मुंबई एयरपोर्ट पर कप्तान सूर्यकुमार यादव, हेड कोच गौतम गंभीर और उपकप्तान हार्दिक पंड्या टीम के साथ नजर आए। एशिया कप 2025 का शेड्यूल और वेन्यू क्रिकेट एशिया कप 2025 की शुरुआत 9 सितंबर से 28 सितंबर तक होगी। भारतीय टीम अपने अभियान की शुरुआत 10 सितंबर को UAE के खिलाफ करेगी। इसके बाद 14 सितंबर को पाकिस्तान और 19 सितंबर को ओमान से भिड़ेगी। हालांकि टूर्नामेंट की मेजबानी भारत को मिली है, लेकिन भारत-पाकिस्तान के बीच खराब संबंधों की वजह से इसे न्यूट्रल वेन्यू दुबई में आयोजित किया जा रहा है। टूर्नामेंट में भारत, पाकिस्तान, ओमान और UAE को ग्रुप-ए में रखा गया है। वहीं ग्रुप-बी में श्रीलंका, बांग्लादेश, अफगानिस्तान और हॉन्ग कॉन्ग शामिल हैं। हर टीम अपने ग्रुप की बाकी टीमों के खिलाफ 1-1 मैच खेलेगी, जिसके बाद सेमीफाइनल और फाइनल मुकाबले खेले जाएंगे। UAE से होगा भारत का पहला मुकाबला भारतीय टीम एशिया कप 2025 में अपना पहला मैच 10 सितंबर को UAE के खिलाफ खेलेगी। इसके बाद टीम का दूसरा बड़ा मुकाबला 14 सितंबर को पाकिस्तान और तीसरा मैच 19 सितंबर को ओमान से होगा। अगर भारत और पाकिस्तान दोनों टीमें सुपर-4 स्टेज में जगह बना लेती हैं, तो फैंस को 21 सितंबर को दोनों के बीच एक और हाई-वोल्टेज मुकाबला देखने को मिलेगा। इतना ही नहीं, यदि दोनों टीमें सुपर-4 में टॉप करती हैं, तो फाइनल से पहले टूर्नामेंट में उनका तीसरा आमना-सामना भी संभव है। टूर्नामेंट का खिताबी मुकाबला 28 सितंबर को खेला जाएगा। पिछला एशिया कप पाकिस्तान ने किया था होस्ट एशिया कप 2023 की मेजबानी पाकिस्तान ने की थी। हालांकि भारत ने सुरक्षा कारणों से पाकिस्तान का दौरा करने से इनकार कर दिया था। इसके बाद टूर्नामेंट को हाइब्रिड मॉडल में आयोजित किया गया, जिसमें भारत के सभी मुकाबले श्रीलंका में खेले गए। फाइनल में भारत ने श्रीलंका को हराकर खिताब अपने नाम किया था। एशिया कप की शुरुआत 1984 में हुई थी।अब तक यह टूर्नामेंट 16 बार खेला जा चुका है। भारत ने सबसे ज्यादा 8 बार खिताब जीता है। वहीं श्रीलंका ने 6 बार और पाकिस्तान ने 2 बार एशिया कप अपने नाम किया है। यह भी पढ़ें:https://chambalkichugli.com/cricket-said-goodbye-to-cricket-at-the-age-of-42-in-a-week-2/
क्यों बैन हुए YouTube, Facebook और Instagram? 26 सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ठप्प

Nepal Bans Social Media: नेपाल सरकार ने बड़ा कदम उठाते हुए उन सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर बैन लगा दिया है, जिन्होंने तय समय सीमा में खुद को संचार और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय में रजिस्टर नहीं कराया। गुरुवार को संचार मंत्री पृथ्वी सुब्बा गुरुंग की अध्यक्षता में हुई बैठक के बाद लिए गए इस फैसले के तहत Facebook, Instagram, WhatsApp और X समेत 26 ऐप्स को बंद कर दिया गया। सरकार ने इन्हें डी-एक्टिवेट करने के लिए आधिकारिक पत्र भी जारी किया है। किन ऐप्स पर लगी रोक रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया पूरी न करने की वजह से नेपाल सरकार ने Facebook, Instagram, WhatsApp, YouTube, X (Twitter), Reddit और LinkedIn जैसे बड़े-बड़े सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर भी बैन लगा दिया है। सरकार द्वारा 28 अगस्त को इन कंपनियों को रजिस्ट्रेशन के लिए 7 दिन का समय दिया गया था, लेकिन तय समय सीमा के बाद भी किसी ने प्रक्रिया पूरी नहीं की। नतीजतन अब नेपाल में यूजर्स इन लोकप्रिय ऐप्स का इस्तेमाल नहीं कर पा रहे हैं। चीनी ऐप्स पर नहीं पड़ा असर नेपाल सरकार के बैन का असर भले ही Facebook, WhatsApp और YouTube जैसे ग्लोबल प्लेटफॉर्म्स पर पड़ा हो, लेकिन TikTok, Viber, Nimbuzz, WeTalk और Popo Live जैसे चीनी ऐप्स पर कोई रोक नहीं लगी है। इन ऐप्स को सरकार ने पहले ही लिस्टेड कैटेगरी में मार्क कर दिया था, इसलिए इनका संचालन सामान्य रूप से जारी है। सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के अनुसार, Telegram और Global Diary जैसे कुछ प्लेटफॉर्म अभी भी अप्रूवल प्रक्रिया में हैं। इन पर अंतिम निर्णय आने वाले दिनों में लिया जाएगा। रजिस्ट्रेशन तक जारी रहेगा बैन नेपाल सरकार का कहना है कि जिन ऐप्स पर रोक लगाई गई है, वे तब तक बंद रहेंगे जब तक वे सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय में रजिस्ट्रेशन पूरा नहीं कर लेते। सरकार ने स्पष्ट किया है कि जैसे ही कोई प्लेटफॉर्म रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया पूरी करेगा, उसे उसी दिन से चालू कर दिया जाएगा। अब निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि Facebook, WhatsApp, Instagram और YouTube जैसे बड़े प्लेटफॉर्म्स रजिस्ट्रेशन के लिए तैयार होते हैं या फिर नेपाल से हमेशा के लिए विदाई ले लेते हैं। चूंकि इनमें से कई कंपनियां यूजर्स की प्राइवेसी को प्राथमिकता देती हैं, ऐसे में देखना दिलचस्प होगा कि कौन-सा ऐप सरकारी शर्तें मानता है और कौन-सा नहीं। यूजर्स को मिल सकते हैं चीनी विकल्प एक्सपर्ट्स का मानना है कि अगर नेपाल में बैन हुए ऐप्स सरकार के साथ रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया पूरी करने से इनकार कर देते हैं, तो यूजर्स को मजबूरन उनके चीनी विकल्पों की ओर रुख करना पड़ सकता है। नेपाल सरकार पहले ही कई चीनी ऐप्स को रजिस्टर्ड मान चुकी है। चूंकि चीन में लगभग हर अमेरिकी ऐप का कोई न कोई विकल्प मौजूद है, ऐसे में संभावना है कि नेपाल के यूजर्स भी जल्द ही TikTok, WeChat, Viber, Popo Live जैसे प्लेटफॉर्म्स पर शिफ्ट हो जाएं। यह भी पढ़ें:https://chambalkichugli.com/mp-teachers-will-get-big-gifts-fourth-pay-scale-will-be-presented-soon-in-cabinet/
एमपी के शिक्षकों को बड़ी सौगात, मिलेगा चौथा वेतनमान, कैबिनेट में जल्द पेश होगा प्रस्ताव

MP Teachers Salary Hike 2025 Update: भोपाल में राज्य स्तरीय शिक्षक सम्मान समारोह के मंच से मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने शिक्षकों को बड़ी सौगात दी। उन्होंने घोषणा की कि प्रदेश के शिक्षकों को चौथा वेतनमान दिया जाएगा। सीएम ने कहा कि इस फैसले से सरकार पर 117 करोड़ का अतिरिक्त भार भले ही आएगा, लेकिन शिक्षकों के सम्मान और उनके हित में काम करना हमारी प्राथमिकता है। भोपाल के प्रशासन अकादमी में आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि प्रदेश के सरकारी शिक्षक किसी भी बोर्ड (चाहे सीबीएसई हो या आईसीएससी) को सीधी चुनौती दे रहे हैं। यही वजह है कि सरकारी स्कूलों के छात्र देशभर में आयोजित कठिन परीक्षाओं में लगातार बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं। सीएम ने भरोसा दिलाया कि शिक्षकों के हित में सरकार हमेशा मजबूत कदम उठाएगी और जल्द ही कैबिनेट में प्रस्ताव लाकर चौथा वेतनमान लागू किया जाएगा। उत्कृष्ट शिक्षकों को मिला सम्मान समारोह में प्रदेशभर से चयनित 14 उत्कृष्ट शिक्षकों को सम्मानित किया गया। इन्हें 25 हजार रुपए की सम्मान निधि, शॉल, श्रीफल और प्रशस्ति पत्र प्रदान किए गए। 35 साल की सेवा पूरी करने वालों को लाभ सरकार के फैसले के अनुसार, 1 जुलाई 2023 तक जिन शिक्षकों ने 35 साल की सेवा पूरी कर ली है उन्हें ही चौथे वेतनमान का लाभ मिलेगा। अब तक यह सुविधा केवल शिक्षा विभाग के अधिकारियों तक सीमित थी, लेकिन शिक्षकों को इससे वंचित रहना पड़ रहा था। लंबे समय से उठ रही इस मांग को सरकार ने पूरा कर दिया है। राष्ट्रीय स्तर पर बढ़ा मध्यप्रदेश का मान भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय द्वारा दिए जाने वाले राष्ट्रीय शिक्षक पुरस्कार के लिए इस बार मध्यप्रदेश से दो शिक्षकों का चयन हुआ है। दमोह जिले के पथरिया विकासखंड की शासकीय प्राथमिक शाला की शिक्षिका शीला पटेल और आगर-मालवा जिले के खेरिया गांव स्थित शासकीय ईपीईएस माध्यमिक शाला के शिक्षक भैरूलाल ओसारा को यह सम्मान मिला है। नई दिल्ली में आयोजित समारोह में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने दोनों शिक्षकों को सम्मानित किया। यह उपलब्धि न केवल प्रदेश के शिक्षा जगत के लिए गौरव की बात है बल्कि पूरे देश में सरकारी स्कूलों के शिक्षकों की उत्कृष्ट भूमिका को भी सामने लाती है। राष्ट्रीय शिक्षक पुरस्कार विजेताओं का भी सम्मान भोपाल में आयोजित समारोह के दौरान वर्ष 2024 में राष्ट्रीय शिक्षक पुरस्कार प्राप्त करने वाले शिक्षकों को भी राज्य स्तर पर विशेष सम्मान दिया गया। इनमें दमोह जिले की शासकीय माध्यमिक शाला लिधौरा, ब्लॉक बटियागढ़ के माधव प्रसाद पटेल और मंदसौर जिले की शासकीय हाई स्कूल की शिक्षिका सुनीता गोधा शामिल हैं। इन्हें शॉल-श्रीफल, स्मृति चिह्न और 5 हजार रुपए की सम्मान निधि प्रदान की गई। इस अवसर पर स्कूल शिक्षा मंत्री उदय प्रताप सिंह ने कहा कि ये सभी शिक्षक अपनी मेहनत, लगन और समर्पण से प्रदेश में शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने में अग्रणी रहे हैं।